मौसम की वास्तविक स्थिति को समझना प्रशिक्षण का उद्देश्य

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राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल के वाहिनी मुख्यालय जॉलीग्रांट में चला तीन दिवसीय मौसम पूर्वानुमान प्रशिक्षण बृहस्पतिवार का सम्पन्न हुआ। जहां प्राकृतिक व मानव जनित आपदाओं के दंश को अक्सर प्रदेशवासियों को झेलनी पड़ती है।

राज्य में विभिन्न आपदाओं के दौरान एसडीआरएफ द्वारा कुशलतापूर्वक त्वरित एवं प्रभावी राहत-बचाव कार्य संचालित किए जाते है। राज्य की विषम भौगोलिक परिस्थितियों एवं प्रतिकूल मौसम के कारण रेस्क्यू कार्यों में निरंतर बढ़ती चुनौतियों के दृष्टिगत मौसम की जानकारी तथा पूर्वानुमान अत्यधिक आवश्यक हो जाता है।

किसी भी आपदा में मौसम की एक अहम भूमिका रहती है। ऐसे में मौसम पूर्वानुमान से न सिर्फ आने वाली छोटी बड़ी प्रत्येक आपदा के प्रति आम जनमानस को सचेत व स्वयं को पुर्णतः आपरेशन मोड़ में रहने का समय मिलेगा अपितु आपदा न्यूनीकरण में भी सहायता प्राप्त होगी।

प्रशिक्षण में भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के वैज्ञानिक रोहित थपलियाल द्वारा एसडीआरएफ के अधिकारियों व कार्मिकों को मौसम विज्ञान व पूर्वानुमान से संबंधित प्रशिक्षण दिया गया। तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत प्रथम दो दिवस इंडोर क्लासेस के माध्यम से मौसम की जानकारी, मौसम के प्रकार, पूर्वानुमान के बारे में विस्तार पूर्वक बताया गया, साथ ही कुछ केस स्टडीज पर भी चर्चा की गई।

विश्व मौसम विज्ञान दिवस पर प्रशिक्षण के तीसरे दिन एसडीआरएफ के अधिकारियों व कार्मिकों द्वारा मौसम विज्ञान केन्द्र, देहरादून में भ्रमण कर मौसम विज्ञान संबंधित यंत्रों को प्रत्यक्ष रूप से देखकर मौसम पूर्वानुमान की क्रियाविधि की जानकारी प्राप्त की गई।

प्रशिक्षण का उद्देश्य मौसम की वास्तविक स्थिति को समझना, मौसम के प्रकार व मौसम विज्ञान में प्रयोग होने वाले उपकरणों की कार्यशैली को समझना है।