उत्तराखंड सरकार के विभिन्न विभागों के शीर्ष पदों पर सेवानिवृत अधिकारीयों को मनमाने ढंग से सेवा विस्तार दिए जाने और इसमें हो रहे गंभीर भ्रष्टाचार को रोकने के सम्बन्ध में: यूकेडी ने कराया अवगत

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सेवा में,
महामहिम राजयपाल
उत्तराखंड शासन
विषय – उत्तराखंड सरकार के विभिन्न विभागों के शीर्ष पदों पर सेवानिवृत अधिकारीयों को मनमाने ढंग से सेवा विस्तार दिए जाने और इसमें हो रहे गंभीर भ्रष्टाचार को रोकने के सम्बन्ध में।
महोदय,
आपका ध्यान उत्तराखंड सरकार के अधीनस्थ विभिन्न विभागों के शीर्ष पर बैठे अधिकारियों
को उनके सेवानिवृत होने के उपरांत भी एक्सटेंशन दिए जाने के मामले की ओर आकृष्ट करना चाहता हुँ। सर्व विदित हैं कि उत्तराखंड राज्य कि नियमावली के अनुसार, राज्य में कार्यरत अधिकारियों की सेवा निवृति 60 वर्ष हैं। और ऐसे सेवानिवृत अधिकारियों के स्थान पर विभागों में कार्यरत वरिष्ठतम योग्य अधिकारियों को नियुक्त किया जाता हैं। ये प्रक्रिया न सिर्फ लगभग सभी राज्य सरकारों अपितु केंद्र सरकार के भी समस्त विभागों में अपनाई जाती हैं। हमारे संज्ञान में आया हैं कि वर्तमान उत्तराखंड सरकार विभिन्न विभागों और विभागध्यक्षो को उनकी सेवानिवृत होने के पश्चात् एक्सटेंशन देकर उन्हें इन पदों पर बैठा रही हैं। उदाहरण के तौर पर पिछले छः माह के अंदर श्री संदीप सिंघल एमo डीo यूजेवीएन को 15 मार्च 2024 में सेवा निवृत 30 जून 2024 से पहले दो साल का एक्सटेंशन दिया गया हैं। ऐसे ही श्री दीपक यादव प्रमुख अभियंता लोक निर्माण विभाग को नवम्बर में रिटायर होने के बाद छः माह का एक्सटेंशन दिया गया हैं।
जानकारी में आया हैं कि उत्तराखंड शासन के कुछ अन्य विभागों में जैसे सिंचाई विभाग, पेयजल विभाग,के विभागध्यक्षो को भी उनके सेवानिवृति के उपरांत पुनः उनके पदों पर एक्सटेंशन देकर बैठने की तैयारी चल रही हैं। सेवानिवृति के उपरांत अधिकारियों को एक्सटेंशन देकर पुनः उन्ही पदों पर नियुक्त करने की प्रक्रिया में व्यापक भ्रष्टाचार हो रहा हैं।
सरकार अपने चहेते अधिकारियों को सेवा निवृत होने के बाद भी एक्सटेंशन देकर इसलिए बैठा रही हैं कि ताकि ये अधिकारी अपने कार्यकाल के लिए किये गये भ्रष्टाचार पर पर्दा डाल सके और सरकार के शीर्ष पदों पर बैठे अधिकारियों और नेताओं के लिए अवैध उगाही करना जारी रखे, साथ ही उनके चहेते ठेकेदारों को ठेके आवंटित करें ताकि कमीशनखोरी को बढ़ावा दिया जाना जारी रखे। यह चर्चा भी हैं कि एक्सटेंशन पाने वालों में अधिकारियों नें मोटी रकम रिश्वत के तौर पर शासन के शीर्ष पदों पर बैठे भ्रस्ट अधिकारियों और नेताओं को दी हैं, इसमें दिल्ली और नागपुर में बैठे हुए कुछ दलाल ऐसे भ्रष्ट अधिकारियों और राजनेताओं के साथ साँठ-गांठ कर उत्तराखंड के हितों को नुकसान पहुंचा रहे हैं।
यह उल्लेख करना हैं कि सेवानिवृत अभियंताओं और अधिकारियों को सरकार के विभिन्न विभागों, सस्थाओं और निगमों में नियुक्त हेतु सेवा नियमावलियों में भी नियम विरुद्ध बदलाव किया जा रहा हैं ताकि मनचाहे अधिकारियों को ऐसे पदों पर बैठा कर व्यापक भ्रष्टाचार को किया जा सके। नवीनतम मामला लोक निर्माण मंत्रालय के अधीनस्थ एक निगम ब्रिज रोपवे एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कारपोरेशन (ब्रिड कुल) के एमडी के पद पर नियुक्ति में हो रहे घोटाले का हैं। एक हिंदी समचार पत्र में छपी खबर के अनुसार ब्रिडकुल में एमड़ी पद पर किसी सेवा निवृत अधिकारी को नियुक्त करने हेतु निगम की सेवा नियमावली में परिवर्तन किया गया हैं और ऐसा किसी विशेष रिटायर अधिकारी को लाभ पहुँचाने के लिए किया गया हैं। कई लोगों के द्वारा ब्रिडकुल के एमo डीo पद पर जाने की नियुक्त प्रक्रिया में गड़बडी सामने आयी हैं और तब विभागीय मन्त्री श्री सतपाल महाराज से इस बाबत शिकायत की जाने की बात सामने आयी हैं कि मन्त्री के इस मामले में जाँच करने के आदेश के वावजूद बजाय जाँच करने के ब्रिडकुल के एमo डीo पद हेतु आनन-फ़ानन में साक्षात्कार कर चहेते अधिकारी को नियुक्त करने का खेल किया जा रहा हैं जिससे स्पष्ट हैं कि उत्तराखंड शासन के शीर्ष पदों पर बैठे लोगो द्वारा इस नियुक्ति में गंभीर भ्रष्टाचार किया जा रहा हैं।
इस पत्र के माध्यम से आपसे निवेदन करता हुँ कि उत्तराखंड सरकार द्वारा सेवानिवृत अधिकारियों को एक्सटेंशन देने कि प्रवृति पर तत्काल रोक लगाई जाय और पूर्व में दिए गये ऐसे सभी एक्सटेंशन को तत्काल प्रभाव से निरस्त किया जाय। साथ ही ब्रिडकुल के एमड़ी पद पर होने वाली नियुक्ति प्रक्रिया को तत्काल निरस्त किया जाय और भविष्य में निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से नियुक्तियों को किया जा सके। मै आपसे यह भी निवेदन करता हुँ कि पूर्व में दिए गये ऐसे एक्सटेंशन के मामलों की भी विस्तृत जांच सीबीआई के माध्यम से कराई जाय, ताकि उत्तराखंड सरकार द्वारा ऐसी नियुक्ति में हो रहे भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाया जा सके।…महोदय, महामहिम राजयपाल ऑफिस में दिया गया तथा एक कॉपी मुख्य सचिव उत्तराखंड को डाक रजिस्ट्री द्वारा भेजा गया

भवदीय... मनोरथ प्रसाद ध्यानी 
केन्द्रीय महामंत्री/ कार्यालय
प्रभारी उक्रांद